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रांची. माह-ए-रमजान पूरा होने की खुशी में गुरुवार को ईद मनायी गयी. ईदगाह और मस्जिदों में नमाज अदा की गयी. अकीदतमंदों ने तरक्की, खुशहाली, आपसी भाईचारा और अमन-चैन की दुआएं मांगी. नमाज के बाद सभी ने एक-दूसरे को गले मिलकर ईद की बधाई दी. इधर, बुधवार रात हुई बारिश से मौसम काफी खुशगवार हो गया था. इस कारण सुबह से ही ईद की नमाज अदा करने के लिए अकीदतमंदों की भीड़ जुटने लगी थी. लोग सुबह आठ बजे ईदगाहों और मस्जिदों में नमाज अदा करने के लिए पहुंच गये. नमाज शुरू होने से पहले मौलानाओं का तकरीर हुआ. हरमू रोड स्थित रांची ईदगाह में मौलाना डॉ असगर मिसबाही ने अपने संदेश में कहा कि ईद मुस्लिम समुदाय का सबसे बड़ा त्योहार है. एक महीने की कठोर तपस्या के बाद यह अवसर मिलता है. अल्लाह ने इनाम के तौर पर हमें यह त्योहार देते हैं. इसका हमलोगों को मिलजुलकर आनंद लेना चाहिए और मनाना चाहिए.
यूसीसी लागू करना सही नहीं
मौलाना डॉ असगर मिसबाही ने कहा कि यूनिफाॅर्म सिविल कोड सही नहीं है. संविधान ने सभी को अपने-अपने धर्म के अनुसार चलने का अधिकार दिया है.
इस तरह का कानून बनाने से बचना चाहिए.
संगठनों ने लगाया सेवा शिविर
नमाजियों के सेवा के लिए अंजुमन इस्लामिया सहित विभिन्न संगठनों ने सेवा शिविर लगाया. लोगों के बीच खाने-पीने की चीजों का वितरण किया गया.
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